Tuesday, 20 March 2012

संगीता वर्धन उर्फ़ माया समतानी "ज़िन्दगी की हकीक़त से आमना सामना"





कलर्स के नए रिअलिटी शो  "ज़िन्दगी की हकीक़त से आमना सामना" में जज माया समतानी की भूमिका निभा रही संगीता वर्धन, रांची (झारखण्ड) के एक सम्मानित परिवार से सम्भंदित हैं, इनके पिता कोल इंडिया लिमिटेड में एक अफसर के रूप में कार्यरत थे, संगीता पहले पायलेट बनना चाहती थी पर नियति को कुछ और मंजूर था, अपने पति और ससुराल वालो के सहयोग से वो अभिनेत्री बन गई.
बालीवूड में अक्सर जज की भूमिका अक्सर साधारण होती है और उसके लिए हमेशा सीनियर और मशहूर कलाकारों को लिया जाता है, लेकिन कलर चैनल वालो ने इस बार संगीता को इस भूमिका में लेकर प्रयोग किया और वे सफल रहे. आज संगीता इस किरदार में एक कड़क लेकिन समजदार जज के रूप में लोगो का ध्यान आकर्षित कर रही हैं.





इस के पूर्व संगीता बालाजी टेलीफिल्म्स की 'क्योंकि सास भी कभी बहु थी' व सहारा चैनल के 'घर एक सपना' में नजर आ चुकी हैं, इसके आलावा सुभोद चन्द्र की फेस्टिवल के लिए बनाई गई फिल्म 'लोथरा' में प्रमुख भूमिका में नज़र आ चुकी हैं.





आज संगीता कलर के इस कार्यक्रम  "ज़िन्दगी की हकीक़त से आमना सामना" से इतनी मशहूर हो चुकी हैं की लोग उनकी तुलना अदाकारा किरण खेर से करने लगे हैं यहाँ तक की उन्हें कई अन्य प्रोग्राम के लिए सोचा जा रहा है. कई प्रस्ताव हैं पर इस वक़्त वे कलर के साथ व्यस्त हैं. पिछले दिनों संगीता महिला अंतर्राष्ट्रीय दिवस के एक कार्यक्रम में सरोज खान, महिमा चौधरी व मोनिका बेदी के साथ जज के तौर पर आमंत्रित थी, कामेडियन सुनील पाल के पुत्र के जन्मदिन पर मुख्य मेहमान थी, साथ ही "स्वर्गीय श्री रवि, शम्मी कपूर और देव आनंद के श्रधांजलि के अवसर पर सावन कुमार टाक व श्रवण राठोड के साथ प्रमुख रूप से निमंत्रित थी.
संगीता झारखण्ड के एक एनजीओ संवेदना के साथ भी जुडी हैं जो गरीब व आदिवासी महिलाओ के लिए कार्यरत हैं. 


http://youtu.be/cRlvCkVOFgU

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